भारत ने श्रीलंका को दी 65,000 मीट्रिक टन यूरिया देने की मंजूरी

 

श्रीलंका में चल रही आर्थिक संकट के बीच भारत ने एक बार फिर समर्थन का हाथ आगे बढ़ाया है। केंद्र सरकार ने इस द्वीप राष्ट्र को 65,000 मीट्रिक टन यूरिया की आपूर्ति करने का निर्णय लिया है।

श्रीलंका में रासायनिक उर्वरक प्रतिबंधित था :

  • वर्ष 2021 में सरकार ने सभी उर्वरक आयातों पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया और श्रीलंका को 100% जैविक कृषि वाला देश बनाने की घोषणा कर दी गई।

  • जैविक खादों की ओर आगे बढ़ जाने के इस प्रयोग ने खाद्य उत्पादन को गंभीर रूप से प्रभावित किया।

  • श्रीलंका के राष्ट्रपति ने बढ़ती खाद्य कीमतों, मुद्रा का लगातार मूल्यह्रास और तेज़ी से घटते विदेशी मुद्रा भंडार पर नियंत्रण के लिये देश में एक आर्थिक आपातकाल की घोषणा कर दी।

  • विदेशी मुद्रा की कमी के साथ-साथ रासायनिक उर्वरकों एवं कीटनाशकों पर लगाये गए विनाशकारी प्रतिबंध ने खाद्य कीमतों को और बढ़ा दिया। मुद्रास्फीति का स्तर वर्तमान में 15% से अधिक है और इसके औसतन 17.5% रहने का अनुमान है, जिससे लाखों गरीब श्रीलंकाई गंभीर संकट की स्थिति में पहुँच गए हैं।

  • हालांकि, जैविक उर्वरकों की अपर्याप्त आपूर्ति के साथ अचानक आर्थिक संकट आने से वहां के कृषि उत्पादन को काफी नुकसान हुआ है जिसके बाद यह निर्णय लिया गया है।

श्रीलंका को भारत की सहायता :

  • गंभीर डॉलर संकट से ‘सॉवरेन डिफ़ॉल्ट’ और आयात-निर्भर देश में आवश्यक वस्तुओं की भारी कमी की स्थिति बन सकती है, इससे जूझ रहे पड़ोसी द्वीपीय-राष्ट्र को जनवरी 2022 से भारत उल्लेखनीय आर्थिक सहायता प्रदान कर रहा है।

  • वर्ष 2022 के आरंभ से भारत द्वारा 1.4 बिलियन डॉलर से अधिक का राहत प्रदान किया गया है जिसमें 400 डॉलर का ‘करेंसी स्वैप’, 500 डॉलर का ऋण स्थगन और ईंधन आयात के लिये 500 डॉलर का ‘लाइन ऑफ क्रेडिट’ शामिल है।

  • इसके साथ ही अभी हाल ही में भारत ने अभूतपूर्व आर्थिक संकट का सामना कर रहे श्रीलंका की मदद के लिये उसे 1 बिलियन डॉलर अल्पकालिक रियायती ऋण भी प्रदान किया है।

  • भारत ने वर्ष की शुरुआत से श्रीलंका को क्रेडिट लाइन के तहत 300 करोड़ से अधिक प्रदान करने का वादा किया है। भारत ने भी श्रीलंका की नई सरकार के साथ काम करने की इच्छा जताई है।

राजनीतिक उठापटक के बीच रानिल विक्रमसिंघे को रिकार्ड छठे कार्यकाल के लिए श्रीलंका का प्रधानमंत्री नियुक्त किया गया।

वर्तमान में, श्रीलंका स्वतंत्रता प्राप्ति के बाद से सबसे खराब आर्थिक संकट का सामना कर रहा है। वहां खाद्यान्न और ईंधन की कमी, बढ़ती कीमतों और बिजली कटौती के कारण लगभग प्रत्येक दिन हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं।

श्रीलंका :

राजधानी : कोलंबो, दूसरी राजधानी  "श्रीजयवर्धनपुरा कोटे"

मुद्रा : श्रीलंकाई रुपया

राष्ट्रपति : गोटाबाया राजपक्षे

प्रधानमंत्री : रानिल विक्रमसिंघे


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